जयपुर की साइबर क्राइम थाना पुलिस ने महिला को डिजिटल अरेस्ट (Digital Arrest) कर 80 लाख रुपए ठगने वाले एक शातिर अपराधी को गिरफ्तार कर लिया। आरोपी ने मुंबई क्राइम ब्रांच पुलिस का अधिकारी बन वॉट्सऐप कॉल के जरिये महिला से संपर्क किया और कानूनी कार्यवाही का डर दिखाकर 80 लाख रुपए ट्रांसफर करा लिए। ये रकम आरोपी के बैंक खाते में ही ट्रांसफर कराई गयी थी।
कानूनी कार्यवाही का डर दिखाकर किया डिजिटल अरेस्ट (Digital Arrest)
एसपी (साइबर क्राइम) शांतनु कुमार सिंह ने जानकारी देते हुये बताया कि बुजुर्ग महिला के साथ ये ठगी पिछले वर्ष 23 नवंबर से 30 नवंबर के मध्य हुई थी। आरोपी ने 82 वर्षीय बुजुर्ग महिला को मनी लॉन्डरिंग के केस में कार्यवाही करने का डर दिखाकर डिजिटल अरेस्ट (Digital Arrest) कर घटना को अंजाम दिया और फिर कानूनी कार्रवाई न करने के नाम पर उससे 80 लाख रुपये अपने खाते में ट्रांसफर करवा लिए।
शिकायत दर्ज होने के बाद जयपुर की साइबर क्राइम पुलिस ने जांच कर सुबूत जुटाते हुये इस घटना को अंजाम देने वाले मुख्य खाता धारक तक पहुंचे। जांच के दौरान पुलिस को यह भी जानकारी हुई कि ठगी की पूरी धनराशि एक ही बैंक खाते में ट्रांसफर करवाई गई थी।
यह खाता पश्चिम बंगाल के धूलिया हावड़ा निवासी सोवन मंडल (30) के नाम पर दर्ज है। जिस पर कार्यवाही करते हुये पुलिस ने बंगाल से सोवन मंडल को गिरफ्तार कर लिया। गिरफ्तार आरोपी से पूछताछ कर पुलिस नेटवर्क के अन्य अपराधियों की तलाश कर रही है। आरोपी ने बताया कि गिरोह के सदस्य महंगे शौक पूरे करने में इन पैसो का इस्तेमाल कर रहे थे।
क्रिप्टो में बदले जा रही थी ठगी की रकम
पुलिस पूछताछ में खुलासा हुआ है कि सोवन मंडल का खाता ठगी के पैसे लेने में मुख्य रूप से शामिल था। ठगी की रकम 150 से अधिक अन्य बैंक खातों में इसी बैंक खाते से ट्रांसफर की गई थी। जिसके बाद उन रुपयों को ट्रेस न कर पाने के उद्देश्य से क्रिप्टो करेंसी (यूएसडीटी) में बदला जा रहा था। पुलिस द्वारा अन्य सभी संदिग्ध खाताधारको की पहचान के प्रयास किए जा रहे हैं।
मामले में अब तक 18 आरोपी गिरफ्तार
पूरे मामले में अब तक पुलिस करीब 18 आरोपियों को गिरफ्तार कर चुकी है । गिरफ्तार आरोपियों के कब्जे से गिरफ्तार आरोपियों के कब्जे से 13 लाख कैश, 27 मोबाइल, 16 सिम कार्ड, विभिन्न बैंकों की 19 पासबुक, 43 डेबिट कार्ड व 15 चेकबुक, 13 पैन कार्ड और आधार कार्ड, 1 लैपटॉप और 1 स्विफ्ट गाड़ी भी बरामद की गई है ।
पुलिस ने लोगों को जागरूक करते हुये अपील की अगर किसी व्यक्ति के साथ साइबर अपराध हुआ है तो तुरंत 1930 पर कॉल करे या साइबर क्राइम कम्प्लेंट पोर्टल पर अपनी शिकायत दर्ज कराये ।